Gabriel and Hope/hi: Difference between revisions

From TSL Encyclopedia
No edit summary
No edit summary
Tags: Mobile edit Mobile web edit
 
(20 intermediate revisions by the same user not shown)
Line 43: Line 43:
महादेवदूत गेब्रियल ने न केवल जीवन और मृत्यु के रहस्यों के बारे में हमें बताया बल्कि इस दुनिया और इसके परे की दुनिया के रहस्यों के बारे में भी जानकारी दी है। उन्होंने पृथ्वी और अन्य ग्रहों के विभिन्न जीवों के दिल, दिमाग और जीवात्माओं पर हावी (dominate) होने की सदियों पुरानी साजिश के बारे में भी बताया है। वह प्रलय के पहले के युगों (antediluvian epochs) के प्रत्यक्षदर्शी थे, और उन्होंने हमें हमारे पिता [[Special:MyLanguage/Enoch|इनोक]] (Enoch) की किताबों के बारे में बताया है, जिनमें प्रकाश और अंधेरे की लड़ाई (battle of Light and Darkness) की स्पष्ट रूप से व्याख्या की गई है।
महादेवदूत गेब्रियल ने न केवल जीवन और मृत्यु के रहस्यों के बारे में हमें बताया बल्कि इस दुनिया और इसके परे की दुनिया के रहस्यों के बारे में भी जानकारी दी है। उन्होंने पृथ्वी और अन्य ग्रहों के विभिन्न जीवों के दिल, दिमाग और जीवात्माओं पर हावी (dominate) होने की सदियों पुरानी साजिश के बारे में भी बताया है। वह प्रलय के पहले के युगों (antediluvian epochs) के प्रत्यक्षदर्शी थे, और उन्होंने हमें हमारे पिता [[Special:MyLanguage/Enoch|इनोक]] (Enoch) की किताबों के बारे में बताया है, जिनमें प्रकाश और अंधेरे की लड़ाई (battle of Light and Darkness) की स्पष्ट रूप से व्याख्या की गई है।


अपनी पुस्तक ''मिस्ट्रीज़ ऑफ़ द होली ग्रेल''(Mysteries of the Holy Grail) में, गेब्रियल ने अच्छाई और बुराई के अनुरूप ज्ञान के बारे में अपनी शिक्षा दी है, और यह भी बताया कि कैसे  [[Special:MyLanguage/fallen angel|पथभ्रष्ट देवदूतों]] (fallen angels) ने इस ज्ञान को द्वारा हमारे सबसे पहले सांसारिक माता-पिता तक पहुँचाया। इन पथभ्रष्ट देवदूतों ने हमारे प्राथमिक माता-पिता [[Special:MyLanguage/Adam and Eve|आदम और हव्वा]] (Adam and Eve) की मासूमियत को भंग करने की साजिश रची थी ताकि वे ईश्वर को न पहचान पाएं और उनके वंशज हज़ारों वर्षों तक भटकते रहें।
अपनी पुस्तक ''मिस्ट्रीज़ ऑफ़ द होली ग्रेल'' (Mysteries of the Holy Grail) में, गेब्रियल ने अच्छाई और बुराई के अनुरूप ज्ञान के बारे में अपनी शिक्षा दी है, और यह भी बताया कि कैसे  [[Special:MyLanguage/fallen angel|पथभ्रष्ट देवदूतों]] (fallen angels) ने इस अनुरूप ज्ञान को हमारे सबसे पहले सांसारिक माता-पिता तक पहुँचाया। इन पथभ्रष्ट देवदूतों ने हमारे प्राथमिक माता-पिता [[Special:MyLanguage/Adam and Eve|आदम और हव्वा]] (Adam and Eve) की मासूमियत को भंग करने की साजिश रची थी ताकि वे ईश्वर को न पहचान पाएं और उनके वंशज हज़ारों वर्षों तक भटकते रहें।


गेब्रियल ईश्वर और मनुष्य दोनों के मित्र हैं। प्रकाश के सभी प्रेमी इस महादेवदूत को अपने विशेष विश्वासपात्र और सलाहकार के रूप में बुला सकते हैं। वे हमें पृथ्वी और स्वर्ग पर रहने वाले संतों के आपसी संवाद के बारे में ज्ञान देते हैं।
गेब्रियल ईश्वर और मनुष्य दोनों के मित्र हैं। प्रकाश के सभी प्रेमी इस महादेवदूत को अपने विशेष विश्वासपात्र और सलाहकार के रूप में बुला सकते हैं। वे हमें पृथ्वी और स्वर्ग पर रहने वाले संतों के आपसी संवाद के बारे में ज्ञान देते हैं।


१९८७ में गेब्रियल की दिव्य सहायिका होप ने कहा था:
१९८७ में गेब्रियल की दिव्य सहायिका होप ने कहा:  


<blockquote>क्या आप जानते हैं कि ऐसी कौन से वस्तु है जिसके ऊपर आपका पूर्ण रूप से नियंत्रण है? वह स्वर्ण युग है - जिसपर आपका पूर्ण नियंत्रण है। आप चाहें तो इसी क्षण स्वर्ण युग को प्रकट कर सकते हैं! ईश्वर की लौ का आपके भीतर होना इस बात का सूचक है कि स्वर्ण युग आपके आभामंडल में प्रकट होने को है... आपको कोई अनुमान लगाने की आवश्यकता नहीं है कि स्वर्ण युग पृथ्वी पर आएगा या नहीं?" क्योंकि आप यह कह सकते हैं, “स्वर्ण युग यहीं मुझमें है। यह मैं जानता हूं, हे भगवान! स्वर्ण युग वहीँ है जहां मैं हूं, और इससे अधिक कुछ पाने की मैं इच्छा भी नहीं करता। दिव्य सहायिका होप के साथ मैं  ब्रह्मांड को अपने स्वर्णिम काल से भर रहा हूं।<ref>''Pearls of Wisdom'', 1984, Book One, Introduction One, pp. ''19–20''.</ref></blockquote>  
(In 1987, Archeia Hope said:)
 
<blockquote>क्या आप जानते हैं कि ऐसी कौन से वस्तु है जिसके ऊपर आपका पूर्ण रूप से नियंत्रण है? वह स्वर्ण युग है - जिसपर आपका पूर्ण नियंत्रण है। आप चाहें तो इसी क्षण स्वर्ण युग को प्रकट कर सकते हैं! ईश्वरीय स्वरुप की उपस्थिति  का आपके भीतर होना इस बात का सूचक है कि स्वर्ण युग आपके आभामंडल में प्रकट है और विकास कर रहा है... आपको कोई अनुमान लगाने की आवश्यकता नहीं है कि स्वर्ण युग पृथ्वी पर आएगा या नहीं?" क्योंकि आप यह कह सकते हैं, “स्वर्ण युग यहीं मुझमें है। यह मैं जानता हूं, हे भगवान! स्वर्ण युग वहीँ है जहां मैं हूं, और इससे अधिक कुछ पाने की मैं इच्छा भी नहीं करता। दिव्य सहायिका होप के साथ मैं  ब्रह्मांड को अपने स्वर्णिम काल से भर रहा हूं।<ref>''Pearls of Wisdom'', 1984, Book One, Introduction One, pp. ''19–20''.</ref></blockquote>  


<span id="Retreat"></span>
<span id="Retreat"></span>
== आश्रयस्थल ==
== आश्रयस्थल == (Retreat)


{{main-hi|Gabriel and Hope's retreat|गेब्रियल और होप का आश्रय स्थल }}
{{main-hi|Gabriel and Hope's retreat|गेब्रियल और होप का आश्रय स्थल }}


महादूत गेब्रियल और होप का आश्रय स्थल कैलिफोर्निया के सैक्रामेंटो और माउंट शास्ता के बीच ईथरिक स्तर पर है। पवित्रता और आध्यात्मिक उत्थान की चौथी किरण के महादेवदूत गेब्रियल और उनकी दिव्या सहायिका होप ईसा मसीह और मदर मेरी के साथ मिलकर [[Special:MyLanguage/Resurrection Temple|पुनरुत्थान मंदिर]] में भी कार्य करते हैं। वे चौथी किरण के स्वामी [[Special:MyLanguage/Serapis Bey|सेरापिस बे]] के साथ मिश्र के लक्सर में स्थित [[Special:MyLanguage/Ascension Temple|असेंशन टेम्पल]] आश्रय स्थल में भी कार्य करते हैं।
महादूत गेब्रियल और होप का आश्रय स्थल कैलिफोर्निया के सैक्रामेंटो और माउंट शास्ता (Sacramento and Mount Shasta, California) के बीच आकाशीय स्तर (etheric plane) पर है। पवित्रता और आध्यात्मिक उत्थान की चौथी किरण के महादेवदूत गेब्रियल और उनकी दिव्य सहायिका होप ईसा मसीह और मदर मेरी (Jesus and Mother Mary) के साथ मिलकर [[Special:MyLanguage/Resurrection Temple|पुनरुत्थान मंदिर]] (Resurrection Temple) में भी सेवा प्रदान करते हैं। वे चौथी किरण के स्वामी [[Special:MyLanguage/Serapis Bey|सेरापिस बे]] (Serapis Bey) के साथ मिश्र के लक्सर (Luxor, Egypt) में स्थित [[Special:MyLanguage/Ascension Temple|असेंशन टेम्पल]] (Ascension Temple) आश्रय स्थल में भी सेवा करते हैं।
 
पिएत्रो मैस्कैग्नी द्वारा रचित ''कैवेलेरिया रस्टिकाना'' के इंटरमेज़ो का संगीत गेब्रियल की ऊर्जा दर्शाता है


पिएत्रो मैस्कैग्नी द्वारा रचित ''कैवेलेरिया रस्टिकाना'' के इंटरमेज़ो का संगीत गेब्रियल की ऊर्जा दर्शाता है
(The energy of Gabriel is focused through the music of the Intermezzo from ''Cavalleria Rusticana'', by Pietro Mascagni)


<span id="See_also"></span>
<span id="See_also"></span>
== इसे भी देखिये ==
== इसे भी देखिये ==


ब्रह्मांडीय जीव फेथ (cosmic being Hope) के बारे में जानकारी के लिए यहां देखें [[Special:MyLanguage/Faith, Hope and Charity|फेथ, होप और चैरिटी]] (Faith, Hope and Charity)
ब्रह्मांडीय जीव होप (cosmic being Hope) के बारे में जानकारी के लिए यहां देखें [[Special:MyLanguage/Faith, Hope and Charity|फेथ, होप और चैरिटी]] (Faith, Hope and Charity)


<span id="Sources"></span>
<span id="Sources"></span>

Latest revision as of 19:14, 8 August 2024

Other languages:
द अननन्सिएशन, लियोनार्डो दा विंसी (The Annunciation, Leonardo da Vinci)
देवदूत गेब्रियल (Archangel Gabriel)

गेब्रियल और होप (Gabriel and Hope) पुनरुत्थान (resurrection) की चौथी किरण और आध्यात्मिक उत्थान की लौ के महादेवदूत (archangel) और दिव्य सहायिका (archeia) हैं। पवित्रता के देवदूतों और सेराफिम (seraphim) के साथ, यह समरूप जोड़ी पृथ्वी ग्रह पर प्रत्येक पुरुष, महिला और बच्चों के लिए ईश्वरीय योजना की त्रुटिहीन संकल्पना (immaculate concept) की रक्षा करती हैं।

== ख्रीष्‍ट-जन्म-घोषणा के देवदूत == ( Angel of the Annunciation)

गेब्रियल, ख्रीष्‍ट-जन्म-घोषणा (Annunciation) के देवदूत हैं जिन्होंने मेरी (Mother Mary) का इन शब्दों के साथ अभिवादन किया था, आप धन्य हैं क्यूँकि आप और प्रभु एक रूप हैं: आप महिलाओं में धन्य हैं।"[1] गेब्रियल प्रत्येक भावी मां को एक आत्मा के आगमन की खुशखबरी के साथ सलाम करते हैं, जिसके लिए उन्हें बच्चे के शरीर-रूपी मंदिर को तैयार करने का विशेषाधिकार भी प्राप्त है। वह आने वाले बच्चे की उच्च चेतना के इलेक्ट्रॉनिक पैटर्न को माँ के आभामंडल के भीतर रखते है ताकि माँ और बच्चे के शरीर के मौलिक तत्व (body elemental), उनकी उच्च चेतना के निर्देशन में, एक साथ काम कर सकें। देवदूत बच्चे से उसके पिछले जन्मों में विकसित और कारण शरीर (causal body) में संग्रहीत उच्चतम और सर्वोत्तम प्रतिभाओं को स्थापित करने के लिए माता-पिता के साथ मिलकर काम करते हैं।

हालाँकि आज कल पृथ्वी की अधिकांश महिलाएँ गेब्रियल की पवित्रता की उच्च चेतना के साथ लयबद्ध (attuned) नहीं हैं और इसलिए वे उनकी आवाज़ नहीं सुन पाती, पर अब वो समय आ रहा है जब सभी माता-पिता आने वाली आत्मा के बारे में की गई घोषणा सुन सकेंगे,और उन्हें पता चल जाएगा कि अपने भाग्य को पूरा करने के लिए ईश्वर द्वारा भेजी गई आत्मा को धारण करना एक उच्च और पवित्र कार्य है, यह एक जिम्मेदारी है जिससे योग्य जोड़ों (qualified couples) को पीछे नहीं हटना चाहिए।

गेब्रियल ने यह चेतावनी दी है कि जनसंख्या को सीमित करने का अभियान आत्मिक चेतना के शत्रु द्वारा जीवात्माओं को उनके आध्यात्मिक उत्थान के अवसर से वंचित करने की एक साज़िश है। जो लोग जनसंख्या नियंत्रण के बारे में झूठ का प्रचार करते हैं या सुनते हैं, वे कर्मों के स्वामी (Lords of Karma) के सामने अपने पुनर्जन्म (reembodiment) का आवेदन नहीं कर सकते।

== पुनरूत्थान == (resurrection)

गेब्रियल और होप प्रत्येक जीवनधारा की शुद्धता और प्रत्येक जीवात्मा में ईश्वर के पवित्र उद्देश्य की पूर्ति के प्रति समर्पित हैं। होप माता-पिता को आशा, खुशी, उत्साह से भर देती है; वह उन्हें आनेवाली जीवात्मा के आध्यात्मिक उत्थान की भी याद दिलाती हैं।

दो हजार साल पहले हुए पुनरुत्थान (resurrection) की सुबह को याद करते हुए गेब्रियल कहते हैं:

देवियों और सज्जनो, अब मैं आकाशीय अभिलेखों का अवलोकन करूंगा और एक बार फिर उस गौरवशाली सुबह को अपने विचारों में लाऊंगा जब मैं इसा मसीह का इंतजार कर रहे उनके प्रिय शिष्यों के दिलों में आशा की लौ जगाने के लिए अपने जस्ते के पवित्र देवदूतों के साथ आकाश से नीचे उतरा था। मैंने कब्र के आगे रखे उस पत्थर को हिलाया जिसके भीतर उनका शरीर था।

जब देवत्व द्वारा शक्ति दिए जाने पर कोई दिव्य प्राणी पदार्थ को हिलाता है तो यह कार्य उस दिव्य प्राणी का प्रयास नहीं है वरन ईश्वर का है। उस पत्थर ने मेरी उंगलियों से निकलने वाले प्रकाश का विरोध नहीं किया। जैसे ही मैंने उसे पकड़ा तो क्षण भर के लिए मेरे मन में यह विचार आया कि मैं भगवान से प्रार्थना करूँ कि मैं इस बहुमूल्य ग्रह पर हर पुरुष और महिला से तब तक मौत का पत्थर हटा सकूँ जब तक कि सभी डर और अत्याचार से मुक्त नहीं हो जाएँ।

जो देवदूत मेरे साथ थे, उन्होंने तुरन्त मेरे विचार को समझ लिया। हमारे विचारों के द्वारा ही हम एक-दूसरे से सम्पर्क करते हैं क्योंकि हम आपकी तरह नहीं हैं; हमें एक दूसरे को अपने विचार व्यक्त करने के लिए शब्दों की आवश्यकता नहीं होती। तुरन्त ही हम सबने आशा का एक मंत्र गाना शुरू कर दिया। मेरी प्रिय होप की मधुर अभिव्यक्ति के नेतृत्व में देवदूतों ने यह अद्भुत गीत शुरू किया जो आने वाली सुबह के साथ पृथ्वी के पूरे चेहरे पर आशा की सुनहरी रोशनी का एक मार्ग प्रसारित करता हुआ प्रतीत हुआ। सुबह-सुबह जब पावन महिलाएँ (holy women) ईसा मसीह की खोज में आईं, तो उन्होंने पत्थर को लुढ़का हुआ पाया।[2]

महादेवदूत का यही आशीर्वाद और सेवा पृथ्वी पर प्रत्येक व्यक्ति को भी दी जाती है अगर वह इसे स्वीकार करें तो। जिस प्रकार गैब्रियल ने हाथ से उस कब्र (जिसमें ईसा मसीह लेटे थे) के दरवाजे के सामने रखे पत्थर को हटा दिया था, उसी प्रकार देवदूत हमारे जीवन की समस्याएं भी सुलझा सकते हैं जब हम उन्हें अपनी दुनिया में प्रवेश करने की अनुमति दें। जैसे ही हम अपने भौतिकता के आवरण (जो कि एक कब्र के सामान ही है) को हटाते हैं, तब हम अपने अंदर के ईश्वर की परिपूर्णता और गौरव को पहचान पाते हैं।

महादेवदूत गेब्रियल, एवरोल्डी पॉलिप्टिच, टिटियन से विवरण (सी. १५२०) {Archangel Gabriel, detail from the Averoldi Polyptych, Titian (c. 1520)}

उनकी आज की सेवा

महादेवदूत गेब्रियल ने न केवल जीवन और मृत्यु के रहस्यों के बारे में हमें बताया बल्कि इस दुनिया और इसके परे की दुनिया के रहस्यों के बारे में भी जानकारी दी है। उन्होंने पृथ्वी और अन्य ग्रहों के विभिन्न जीवों के दिल, दिमाग और जीवात्माओं पर हावी (dominate) होने की सदियों पुरानी साजिश के बारे में भी बताया है। वह प्रलय के पहले के युगों (antediluvian epochs) के प्रत्यक्षदर्शी थे, और उन्होंने हमें हमारे पिता इनोक (Enoch) की किताबों के बारे में बताया है, जिनमें प्रकाश और अंधेरे की लड़ाई (battle of Light and Darkness) की स्पष्ट रूप से व्याख्या की गई है।

अपनी पुस्तक मिस्ट्रीज़ ऑफ़ द होली ग्रेल (Mysteries of the Holy Grail) में, गेब्रियल ने अच्छाई और बुराई के अनुरूप ज्ञान के बारे में अपनी शिक्षा दी है, और यह भी बताया कि कैसे पथभ्रष्ट देवदूतों (fallen angels) ने इस अनुरूप ज्ञान को हमारे सबसे पहले सांसारिक माता-पिता तक पहुँचाया। इन पथभ्रष्ट देवदूतों ने हमारे प्राथमिक माता-पिता आदम और हव्वा (Adam and Eve) की मासूमियत को भंग करने की साजिश रची थी ताकि वे ईश्वर को न पहचान पाएं और उनके वंशज हज़ारों वर्षों तक भटकते रहें।

गेब्रियल ईश्वर और मनुष्य दोनों के मित्र हैं। प्रकाश के सभी प्रेमी इस महादेवदूत को अपने विशेष विश्वासपात्र और सलाहकार के रूप में बुला सकते हैं। वे हमें पृथ्वी और स्वर्ग पर रहने वाले संतों के आपसी संवाद के बारे में ज्ञान देते हैं।

१९८७ में गेब्रियल की दिव्य सहायिका होप ने कहा:

(In 1987, Archeia Hope said:)

क्या आप जानते हैं कि ऐसी कौन से वस्तु है जिसके ऊपर आपका पूर्ण रूप से नियंत्रण है? वह स्वर्ण युग है - जिसपर आपका पूर्ण नियंत्रण है। आप चाहें तो इसी क्षण स्वर्ण युग को प्रकट कर सकते हैं! ईश्वरीय स्वरुप की उपस्थिति का आपके भीतर होना इस बात का सूचक है कि स्वर्ण युग आपके आभामंडल में प्रकट है और विकास कर रहा है... आपको कोई अनुमान लगाने की आवश्यकता नहीं है कि स्वर्ण युग पृथ्वी पर आएगा या नहीं?" क्योंकि आप यह कह सकते हैं, “स्वर्ण युग यहीं मुझमें है। यह मैं जानता हूं, हे भगवान! स्वर्ण युग वहीँ है जहां मैं हूं, और इससे अधिक कुछ पाने की मैं इच्छा भी नहीं करता। दिव्य सहायिका होप के साथ मैं ब्रह्मांड को अपने स्वर्णिम काल से भर रहा हूं।[3]

== आश्रयस्थल == (Retreat)

मुख्य लेख: गेब्रियल और होप का आश्रय स्थल

महादूत गेब्रियल और होप का आश्रय स्थल कैलिफोर्निया के सैक्रामेंटो और माउंट शास्ता (Sacramento and Mount Shasta, California) के बीच आकाशीय स्तर (etheric plane) पर है। पवित्रता और आध्यात्मिक उत्थान की चौथी किरण के महादेवदूत गेब्रियल और उनकी दिव्य सहायिका होप ईसा मसीह और मदर मेरी (Jesus and Mother Mary) के साथ मिलकर पुनरुत्थान मंदिर (Resurrection Temple) में भी सेवा प्रदान करते हैं। वे चौथी किरण के स्वामी सेरापिस बे (Serapis Bey) के साथ मिश्र के लक्सर (Luxor, Egypt) में स्थित असेंशन टेम्पल (Ascension Temple) आश्रय स्थल में भी सेवा करते हैं।

पिएत्रो मैस्कैग्नी द्वारा रचित कैवेलेरिया रस्टिकाना के इंटरमेज़ो का संगीत गेब्रियल की ऊर्जा दर्शाता है

(The energy of Gabriel is focused through the music of the Intermezzo from Cavalleria Rusticana, by Pietro Mascagni)

इसे भी देखिये

ब्रह्मांडीय जीव होप (cosmic being Hope) के बारे में जानकारी के लिए यहां देखें फेथ, होप और चैरिटी (Faith, Hope and Charity)

स्रोत

Mark L. Prophet and Elizabeth Clare Prophet, The Masters and Their Retreats, s.v. “गेब्रियल और होप”

  1. Luke १:२८।
  2. महादेवदूत गेब्रियल, १० सितंबर, १९६३।
  3. Pearls of Wisdom, 1984, Book One, Introduction One, pp. 19–20.