ब्रह्मांडीय पदक्रम (Cosmic hierarchy)

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ईश्वर के अनंत स्वत्व के गुणों और पहलुओं में पारंगत व्यक्तिगत जीवों की सार्वभौमिक श्रृंखला। इस ब्रह्मांडीय पदानुक्रमित योजना में शामिल हैं: सौर प्राणी, एलोहीम, भगवान के पुत्र और पुत्रियां, दिव्यगुरु और उनके चेले, ब्रह्मांडीय जीव, बारह सौर पदक्रम, महादेवदूत और पवित्र अग्नि के देवदूत, प्रकाश और प्रकृतिक आत्माओं के बच्चे, जिन्हें तत्व भी कहा जाता है, और अल्फा-ओमेगा ध्रुवीयता की समरूप जोड़ियां जो ग्रहीय और आकाशगंगा से सम्बंधित योजनाओं का प्रयोजन करती हैं।

पिता की स्वयं की अभिव्यक्ति का यह सार्वभौमिक क्रम वह साधन है जिसके द्वारा महान केंद्रीय सूर्य में भगवान अपने सार्वभौमिक अस्तित्व/चेतना की उपस्थिति और शक्ति को मानव जाती के अनुरूप बनाते हैं ताकि मनुष्यों को ईश्वर के स्नेह का एहसास हो सके। किसी की आध्यात्मिक/शारीरिक उपलब्धि का स्तर उसकी आत्म-जागरूकता से मापा जाता है जो "आत्मा के साथ ईश्वर में छिपा हुआ" होता है और ईश्वर के कानून और स्नेह को आत्मा-पदार्थ ब्रह्मांड दिखाना - पदक्रम में अपना स्थान सुनिश्चित करने की कसौटी है।

पदक्रम के बारे ओरिजन के विचार

तीसरी शताब्दी में, अलेक्जेंड्रिया में रहनेवाले ओरिजिन ने प्राणियों के पदक्रम के बारे में अपने विचार प्रस्तुत किये, जिसमें स्वर्गदूतों से लेकर मनुष्य, राक्षस और जानवर सभी शामिल थे। प्रारंभिक चर्च के इस प्रसिद्ध विद्वान और धर्मशास्त्री ने आत्मा के सिद्धांत की मुख्य आधारशिला रखी थी। इन्होनें हमें सिखाया कि वर्तमान-काल में जीवात्माओं को उनके पिछले जन्मों के कार्यों और योग्यताओं के आधार पर परखा जाता है तथा इसी आधार पर उन्हें नए कार्य सौपें जाते हैं। इस तरह प्रत्येक व्यक्ति के पास पदक्रम में ऊपर उठने का मौका होता है।ओरिजिन के कार्यों पर ही पर बाद के धर्मगुरुओं, डॉक्टरों और धर्मशास्त्रियों ने अपनी परंपराओं का निर्माण किया।

Hierarchy in the Book of Revelation

Many beings of the heavenly hierarchy are named in the Book of Revelation. Apart from the false hierarchy of Antichrist, including the reprobate angels, some of the members of the Great White Brotherhood accounted for by Jesus are Alpha and Omega, the Seven Spirits, the angels of the seven churches, the four and twenty elders, the four beasts, the saints robed in white, the two witnesses, the God of the Earth, the Woman clothed with the Sun and her Manchild, Archangel Michael and his angels, the Lamb and his wife, the one hundred and forty-four thousand who have the Father’s name written in their foreheads, the angel of the Everlasting Gospel, the seven angels (i.e., the Archangels of the seven rays) which stood before God, the angel clothed with a cloud and a rainbow upon his head, the seven thunders, the Faithful and True and his armies, and him that sat upon the great white throne.

See also

Elohim

For more information

Elizabeth Clare Prophet, The Great White Brotherhood in the Culture, History and Religion of America, pp. 83–101.

Origen, On First Principles.

Sources

Mark L. Prophet and Elizabeth Clare Prophet, Saint Germain On Alchemy: Formulas for Self-Transformation.

Rev. 1:4, 8, 11, 20; 2:1, 8, 12, 18; 3:1, 4, 5, 7, 14; 4:2–10; 5:2, 6, 11; 6:9–11; 7:1, 2, 9, 13, 14; 8:2; 10:1, 3, 7; 11:3, 4; 12:1, 5, 7; 14:1, 3–6, 14–19; 15:1; 16:1–4, 8, 10, 12, 17; 17:1; 18:1, 21; 19:4, 7, 11–17; 20:1; 21:6, 9; 22:13.